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सूर्य ग्रहण का भारत के अधिकांश नगरों में प्रभाव

हरिद्वार : सूर्यग्रहण 25 अक्तूबर कार्तिक अमावस्या को है। भारत में खंडग्रास ग्रहण की व्याप्ति अपराह्न 4.15 से 6.15 बजे तक रहेगी। जबकि हरिद्वार में सूर्य ग्रहण 4:26 बजे से 5: 28 तक रहेगा। नारायण ज्योतिष संस्थान के आचार्य विकास जोशी ने बताया कि सूर्य ग्रहण का भारत के अधिकांश नगरों में प्रभाव रहेगा।
ग्रहण का सूतक 25 अक्तूबर को सूर्य उदय से पहले रात 2:30 बजे से शुरू हो जाएगा। जिससे हरिद्वार में मंदिर प्रात: काल बंद रहेंगे। सूर्य अस्त के बाद स्नान कर सांय काल की संध्या और जप किया जाएगा। सूर्य ग्रहण काल में भगवान सूर्य की पूजा करें। पका अन्न और कटी हुई सब्जी ग्रहण काल में दूषित मानी जाती है। ग्रहण की समाप्ति पर गर्म पानी से स्नान न करें। रोगी, गर्भवती स्त्री, विद्या बालकों के लिए यह नियम नहीं होगा। आचार्य विकास जोशी ने बताया कि ग्रहण काल में सोना, खाना-पीना, तेल लगाना निषिद्ध माना जाता हैं। नाखून भी नहीं काटे जाते हैं। सूर्य ग्रहण पर हरिद्वार में स्नान, दान और तर्पण का विशेष महत्व है।
सूर्य ग्रहण के कारण चारधाम के कपाट बंद रहेंगे। सुबह चार बज कर 26 मिनट पर कपाट बंद हो जाएंगे और शाम साढ़े पांच बजे बाद खुलेंगे। पर्यटन मंत्री सतपाल महाराज ने बताया कि सूर्य ग्रहण पर 25 अक्तूबर को 12 घंटे पहले सूतक प्रारंभ हो जाएगा, इसके चलते बदरीनाथ, केदारनाथ, गंगोत्री व यमुनोत्री मंदिर समेत अन्य छोटे-बड़े मंदिर बंद रहेंगे। शाम को पांच बजकर 32 मिनट तक ग्रहण काल रहेगा, जिसके बाद ही मंदिर के कपाट खुलेंगे।
ग्रहण काल के दौरान मंदिरों में दर्शन, पूजन, आरती नहीं होगी। 19 नवंबर को बदरीनाथ, 27 अक्तूबर को केदारनाथ व यमुनोत्री धाम के कपाट बंद हो रहे हैं। 26 अक्तूबर को गंगोत्री धाम के कपाट शीतकाल के लिए बंद होंगे। अब तक चारधामों में 44 लाख से अधिक श्रद्धालु दर्शन कर चुके हैं।

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